कौन हैं आदर्श हिरेमठ और सूर्या मिधा, 3 दोस्तों ने अरबपतियों की लिस्ट में रचा इतिहास

अमेरिका में एआई रिक्रूटमेंट स्टार्टअप ‘मर्कोर’ के को-फाउंडर आदर्श हीरेमठ, सूर्या मिधा और ब्रेंडन फूडी दुनिया के सबसे कम उम्र के सेल्फ मेड अरबपति बन गए हैं। इसके साथ ही इन युवाओं ने मार्क जुकरबर्ग को पीछे छोड़ दिया है, जो 23 साल की उम्र में फोर्ब्स की अरबपतियों की सूची में शामिल हुए थे।

भारत से अमेरिका गए कई युवाओं ने अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाया है, खासकर यूएस की टेक इंडस्ट्रीज में तो भारतीयों का जलवा है। खास बात है कि जॉब के साथ-साथ बिजनेस में भी इंडियन्स बड़ी कामयाबी हासिल कर रहे हैं। इसी कड़ी में भारतीय मूल के 2 युवाओं आदर्श हीरेमठ और सूर्या मिधा ने बड़ी उपलब्धि हासिल की है। इन दोनों युवा और ब्रेंडन फूडी ने दुनिया के सबसे कम उम्र के सेल्फ मेड अरबपति बनकर इतिहास रच दिया है। उससे भी दिलचस्प बात है यह कि इन युवाओं ने मार्क जुकरबर्ग को पीछे छोड़ दिया है, जो 23 साल की उम्र में फोर्ब्स की अरबपतियों की सूची में शामिल हुए थे।

3 दोस्तों ने जुटा ली 350 मिलियन डॉलर की फंडिंग

तेज़ी से बढ़ते एआई रिक्रूटमेंट स्टार्टअप मर्कोर के को-फाउंडर, इन तीनों युवाओं ने हाल ही में 350 मिलियन अमेरिकी डॉलर (31,07,81,80,000 रुपये) की नई फंडिंग जुटाई है, जिससे उनकी कंपनी का वैल्युएशन 10 बिलियन अमेरिकी डॉलर (8,87,75,10,00,000 रुपये) हो गया है। खास बात है कि इस निवेश ने कंपनी के सीईओ फूडी, सीटीओ हीरेमठ और बोर्ड चेयरमैन सूर्या मिधा को दुनिया के सबसे कम उम्र के अरबपतियों की स्पेशल कैटेरगरी में शामिल कर दिया है।

बिजनेस के लिए छोड़ी पढ़ाई

आदर्श हिरेमठ और सूर्या मिधा, दोनों हाई स्कूल के दौरान अच्छे दोस्त बने, और पढ़ाई के बाद उन्होंने अपने बिजनेस की शुरुआत की। भारतीय मूल के अमेरिकी आदर्श हिरेमथ ने बाद में हार्वर्ड यूनिवर्सिटी में कंप्यूटर साइंस की पढ़ाई की, लेकिन दो साल बाद ही पूरी तरह से मर्कोर पर ध्यान केंद्रित करने के लिए पढ़ाई छोड़ दी।

वहीं, सूर्या मिधा जॉर्जटाउन यूनिवर्सिटी में फॉरेन सर्विस में डिग्री हासिल कर रहे थे, और इस दौरान उनकी मुलाकात ब्रेंडन फ़ूडी से हुई, जो अर्थशास्त्र की पढ़ाई कर रहे थे। मिधा और फ़ूडी, दोनों ने हिरेमथ के साथ ही अपनी पढ़ाई छोड़ दी और मर्कोर की स्थापना की। ये तीनों दोस्त और बिजनेस पार्टनर प्रतिष्ठित थील फ़ेलोशिप हासिल कर चुके हैं, जो उन युवा उद्यमियों को प्रदान की जाती है जो अपना स्टार्टअप शुरू करने के लिए कॉलेज की पढ़ाई छोड़ने का विकल्प चुनते हैं।

फूडी, हिरेमथ और मिधा द्वारा हासिल की गई यह उपलब्धि, 27 वर्षीय शायन कोपलान द्वारा अपनी कंपनी पॉलीमार्केट में किए गए एक अहम निवेश की बदौलत फोर्ब्स की अरबपतियों की लिस्ट में शामिल होने के कुछ ही हफ्तों बाद आई है।

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