
कड़ी सुरक्षा में सीजेएम कोर्ट में अखिलेश दुबे और लवी मिश्रा की पेशी हुई। रंगदारी वसूलने से संबंधित मुकदमे में भी अखिलेश दुबे की 14 दिन की न्यायिक हिरासत एक सितंबर तक के लिए मंजूर कर ली गई है।
भाजपा नेता रवि सतीजा की ओर से बर्रा थाने में दर्ज कराए गए मुकदमे के विवेचक ने कोर्ट में केस डायरी पेश की। इसमें कहा गया कि रवि सतीजा, अखिलेश दुबे और लवी मिश्रा तीनों के मोबाइल की कॉल डिटेल रिपोर्ट निकलवाई गई है। तीनों की कई बार बातचीत होने के सबूत मिले हैं। सहअभियुक्त अधिवक्ता शैलेंद्र उर्फ टोनू यादव और रवि सतीजा को झूठे मुकदमे में फंसाने वाली युवती के बीच भी कई बार बातचीत के सबूत मिले हैं।
भाजपा नेता को झूठे मुकदमे में फंसाकर रंगदारी मांगने और धमकाने के मामले में जेल भेजे गए अधिवक्ता अखिलेश दुबे और आयुष उर्फ लवी मिश्रा पर विवेचक ने सीडीआर व बयानों के आधार दो और धाराएं बढ़ाई थीं। इन धाराओं में भी सीजेएम कोर्ट ने दोनों की न्यायिक हिरासत मंजूर कर ली है। इस मुकदमे में 20 अगस्त की तारीख तय थी इसलिए कोर्ट ने बढ़ी धाराओं में भी बुधवार तक की न्यायिक हिरासत ही मंजूर कर ली है।
मंगलवार को कड़ी सुरक्षा में अखिलेश और लवी को कोर्ट लाया गया था लेकिन बुधवार को वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के जरिये पेशी होगी। वहीं कोतवाली में अधिवक्ता द्वारा दर्ज कराए गए रंगदारी वसूलने से संबंधित मुकदमे में भी अखिलेश दुबे की 14 दिन की न्यायिक हिरासत एक सितंबर तक के लिए मंजूर कर ली गई है।
उधर, अखिलेश और रवि के बीच 11 फरवरी 2025 को हुई बातचीत की ऑडियो रिकॉर्डिंग के साथ उसका लिखित रूपांतरण भी केस डायरी में दाखिल किया गया है। इसमें अखिलेश की ओर से मुकदमे में एफआर लगवाने और धमकी देने के सबूत हैं। रवि ने दोबारा दिए अपने बयान में अखिलेश द्वारा धमकाकर रंगदारी मांगने और उसे कई बार में अलग-अलग धनराशि देने की बात कही है। सबूतों को पर्याप्त मानकर कोर्ट ने किसी को मौत या उम्रकैद से संबंधित सजा वाले मुकदमे का डर दिखाकर रंगदारी वसूलने और आपराधिक षड्यंत्र रचने से संबंधित बढ़ाई गई दोनों धाराओं में भी अखिलेश और लवी की न्यायिक हिरासत मंजूर कर ली। वहीं, कोतवाली में एक अधिवक्ता की ओर से दर्ज कराई गई रिपोर्ट में भी कोर्ट ने रंगदारी वसूलने, गालीगलौज और धमकाने के आरोप में अखिलेश की 14 दिन की न्यायिक हिरासत मंजूर कर ली।
साहब मेरी तबीयत खराब है, नहीं मिल रही दवाएं
जेल से पेशी पर लाए गए अखिलेश दुबे ने कोर्ट में अपनी उम्र और तबीयत का हवाला देते हुए गुहार लगाई। कहा, साहब मेरी उम्र लगभग 68 साल है और कई गंभीर बीमारियों से ग्रस्त हूं जिसके लिए डॉक्टरों ने मुझे रोज कुछ निश्चित दवाएं लेने की सलाह दी है। जेल में रहने के दौरान मुझे वह दवाएं नहीं मिल पा रहीं जिससे मेरी तबीयत बिगड़ती जा रही है। इस संबंध में अखिलेश के अधिवक्ता की ओर से कोर्ट में एक प्रार्थना पत्र भी दिया गया जिस पर सीजेएम सूरज मिश्रा ने जेल अधीक्षक को दवाएं मुहैया कराने के निर्देश दिए। साथ ही जेल मैनुअल के अनुसार अखिलेश की जांच कराने और जरूरत पड़ऩे पर उसका इलाज कराने के निर्देश भी दिए।